मुहावरे और उनके अर्थ – [Collection- 2]

मुहावरे और उनके अर्थ, Hindi muhaware jo samajh me na aaye, Hindi muhaware or unke matlab

गला घोटना – अत्याचार करना

गला फंसाना – बंधन में पड़ना

गले बढ़ना – जबरदस्ती किसी को कोई काम सौंपना

गले का हार – बहुत प्यारा

गत बनाना – दुर्दशा करना

गड़े मुर्दे उखाड़ना – पिछली बातों को याद करना

गिरगिट की तरह रंग बदलना – किसी बात पर स्थिर न रहना

गुड़ गोबर करना – सब किया-कराया बरबाद कर देना

गुरुघंटाल – बहुत धूर्त

गुदड़ी का लाल – गरीब घर में अमूल्य वस्तु या व्यक्ति

गुल खिलाना – कोई नीच कार्य करना

गुलछर्रे उड़ना – मौज करना

घर सिर पर उठाना – बहुत हल्ला मचाना

घर फूंककर तमाशा देखना – अपना नुकसान करके आनन्द मनाना

घर में गंगा बहना – सरलता से साधनों का मिल जाना

घड़ो पानी भरना – बहुत लज्जित होना

मुहावरे और उनके अर्थ

घाट-घाट का पानी पीना – बहुत अनुभवी होना

घाव पर नमक छिडकना – दुखी को और दुखी करना

घास खोदना – फिजूल समय बिताना

घात में रहना – अवसर देना

घाव हरा होना – दुख की घड़ियाँ याद आना

घिग्घी बांधना – गले से आवाज न निकलना

घी के दिए जलाना – बहुत खुशियाँ मनाना

घोड़े बेचकर सोना – निश्चिंत होना

चम्पत होना – भाग जाना

चल बसना – मर जाना

चंगुल में फंसना – मीठी बातों में वश में हो जाना

चांदी का जूता – रूपया-पैसा

चाँद पर थूकना – किसी भले व्यक्ति पर लांछन लगाना

चादर से पैर बाहर पसारना – अपनी शक्ति से अधिक खर्च करना

चारों खाने चित होना – बुरी तरह हराना

चिकना घड़ा – जिस पर कुछ असर न हो

चूड़ियाँ पहनना – स्त्रियों के समान घर में बैठना

चुल्लूभर पानी में डूब मरना – शर्म अनुभव करना

चूल्हा न जलना – बहुत गरीब होना

चेहरे पर हवाइयां उड़ना – घबरा जाना

चींटी के पर निकलना – मृत्यु काल निकट आना

चैन की बंसी बजाना – बेफिक्र हो जाना

चौकड़ी मरना – छलांग लगाना

चौकड़ी भूलना – मस्ती भूल जाना

छक्के छुड़ाना – हराना

छाती ठोककर कहना – दावे से कहना

छठी का दूध याद आना – बहुत घबरा जाना

छाती पर मुंग दलना – विरोधी के साथ साहस से रहना

छाती पर पत्थर रखना – हौसला रखना

छप्पड़ फाड़कर देना – अचानक धन का आ जाना

छोटा मुंह बड़ी बात – बढ़चढ़कर बोलना

जहर का घूंट पीना – क्रोध रोक लेना

जल-भुनकर कोयला होना – इर्ष्या से भर जाना

जलती आग में घी डालना – लड़ाई या क्रोध को भड़काना

जान के लाले पड़ना – गंभीर विपत्ति में पड़ना

जान को रोना – दुखी होकर कोसना

जिंदगी के दिन पुरे करना – कठिनाई के समय बिताना

जी का बुखार निकलना – गुस्से के कारण किसी को मारना पीटना

जीती मक्खी निगलना – जान-बुझकर गलती करना

जूते से खबर लेना – बुरी तरह मरम्मत करना

जूतियाँ चाटना – खुशामद करना

जूतियाँ चटकते फिरना – बेकार घुमते रहना

टका सा जवाब देना – कोरा उत्तर देना

टांग अड़ना – व्यर्थ में दखल देना

टस से मस न होना – हठ न छोड़ना

टाँगे पसरके सोना – बेफिक्र सोना

टोपी उछालना – अपमानित करना

ठन-ठन गोपाल – पास पैसा न होना

ठिकाने लगाना – उपयूक्त स्थिति में पहुंचा देना

ठोकरें खाना – धक्के खाना

डंडे बजाते फिरना – आवारा फिरना

डकार जाना – हड़प कर लेना

डींगे हांकना – शेखियां बघारना

डूबते को तिनके का सहारा – संकट में थोड़ी सहायता मिलना

डूबती नाव चलाना – कठिनाई पर करना

डूब मरना – बहुत लज्जित होना

डंके की चोट – दावे के साथ

डंका बजाना – प्रचार करना

तलवे चाटना – खुशामद करना

तिनका दांतों में लेना – हार मानना

तिल का ताड़ बनाना – मामूली सी बात को बढ़ा चढ़ाकर कहना

त्यौरी चढ़ना – गुस्सा करना

तीन-तेहर होना – बिखर जाना

थाली का बैगन – अस्थिर विचार वाला

थूक कर चाटना – दिए हुए वचन को तोड़ना

दांत खट्टे होना – बुरी तरह परास्त करना

दांत पिसना – क्रोध करना

दांतों तले उंगली दबाना – आश्चर्य प्रकट करना

दिया लेकर ढूँढना – अच्छी तरह खोजना

दाने-दाने को तरसना – बहुत गरीब होना

दाल में कुछ काला – कुछ भेद होना

दिन दुनी रात चौगुनी – बहुत अधिक उन्नति

दम भरना – अभिमान करना

दूध के दांत न टूटना – छोटी उम्र होना

दो दिन का महमान – अस्थायी

दौड़-धुप करना – भाग-दौड़ करना

दाल न गलना – सफल न होना

दोनों हांथों में लड्डू – दोनों दशाओं में लाभ

द्रौपदी का चिर होना – अन्त न मिलना

दो नावों पर पैर रखना – दोनों पक्षों में रहना

धज्जियाँ उड़ाना – नष्ट-भ्रष्ट करना

धोती ढीली होना – घबरा जाना

नमक-मिर्ची लगाना – बढ़ा-चढ़ाकर कहना

नाक में दम करना – बहुत तंग करना